नारी

नारी तुम प्रेम हो , आस्था हो , 
तुम आराध्य हो , तुम शक्ति हो ,
तुम ही सीता हो , तुम सावित्री हो। 
तुम भागीरथी की गंगा ,
तुम ही गायत्री हो। 
साधु संत स्वर्ग जिसे कहते ,
तुम धरती पर वही मुक्ति हो। 

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